आदिवासियों को गांव जाकर बयान बदलने को लेकर जान से मारने की धमकी देने के मामले में चार लोगों पर एफआईआर दर्ज।

विनोद कुमार जैन

बक्सवाहा। शाखा बक्सवाहा के अंतर्गत सोसाइटियों में करीब 2 साल के अंतराल में करोड़ों अरबों के बिना जमीनों के किसान क्रेडिट कार्ड स्वीकृत किए गए। शाखा प्रबंधक रवि शंकर गोस्वामी के कार्यकाल में करोड़ों अरबों के फर्जी केसीसी कार्ड स्वीकृत किए गए। शाखा प्रबंधक रविशंकर गोस्वामी के संरक्षण में समिति प्रबंधकों ने आधार कार्ड को आधार मानकर और दूसरों की बंदी लगाकर फर्जी बैंक में खाता खोला गया और हितग्राहियों के नाम से केसीसी लोन जारी कर लिए। कुछ दिनों पहले बम्होरी सोसायटी के अंतर्गत मझगुवां वदन, आलमपुर गांव के दर्जनों लोगों ने लिखित एफिडेविट के साथ कलेक्टर, अजाक थाना, जिला कोऑपरेटिव बैंक, संयुक्त पंजीयक कार्यालय सागर, कमिश्नर सागर के अलावा और भी कई जगह लिखित शिकायत की थी।

जिसमे अलग अलग अधिकारियों द्वारा जांच के लिए टीमें गठित की थी। बीते दिनों इन आदिवासियों के लिखित कथन होने थे, तभी इन नटवरलाल रविशंकर गोस्वामी, अरविंद व्यास ने अपने दलाल गुर्गे देर रात आदिवासियों के गांव बयान बदलने के की धमकी देने भेजा था। डरे, सहने आदिवासियों द्वारा पुलिस चौकी बम्होरी में रात 11:00 बजे के लगभग दलालों के लिखित में नाम सहित 27 फरवरी को शिकायत की थी। जिसमे उन्होंने लेख कराया था की हमें आपराधिक किस्म के व्यक्ति विक्की लोधी देवरी,पुष्पेंद्र लोधी आलमपुर, लाखन लोधी आलमपुर, केशू राजा जैतूपुरा द्वारा ने जान से मरने की धमकी दी है। लेकिन उसे वक्त चौकी में कोई प्रभारी ना होने के कारण इस आवेदन पर कोई कार्रवाई नहीं हुई। जब इस गंभीर मामले को छतरपुर पुलिस अधीक्षक अमित संगी के संज्ञान में लाया गया तो उन्होंने शनिवार की दोपहर चारों आरोपियों पर 294,506,34, सहित एससीएसटी एक्ट की धाराओं के तहत मामला दर्ज कराया गया है।

शाखा प्रबंधक रविशंकर गोस्वामी और अरविंद व्यास ने नाम विवेचना में बताए गए है, जांच उपरांत इनके ऊपर भी बहुत जल्द मामला पंजीबद्ध होगा।

कलेक्टर बैंक का प्रशासक होने के बावजूद निलंबित समिति प्रबंधक का चार्ज दूसरे को दिलाने में आ रहा दांतों पसीना – अगर प्रशासक ने निलंबित प्रबंधक का हटाकर, नए को चार्ज नही दिलवाया तो प्रशासक के विरुद्ध भी कार्यवाही की जाएगी : उपपंजीयक

जनवरी 2024 अंत में जिला सहकारी केंद्रीय बैंक मर्यादित छतरपुर के प्रशासक के पद पर हाईकोर्ट ने करुणेंद्र प्रताप सिंह को अलग कर जिला कलेक्टर संदीप जीआर को प्रशासक के पद का कार्यभार सौंपा था। छतरपुर कलेक्टर प्रशासक के कार्यकाल में भ्रष्टाचार में लिप्त अरविंद व्यास के खिलाफ एसडीएम बिजावर के प्रतिवेदन पर बीते 10 फरवरी को सुरेश कुमार रावत मुख्य कार्यपालन अधिकारी द्वारा बम्होरी समिति प्रबंधक को निलंबित कर पहलाद सिंह परिहार को चार्ज सौंपने का आदेश किया था। करीब एक माह होने वाला है और निलंबित समिति प्रबंधक द्वारा दूसरे को चार्ज नहीं दिया गया है। कलेक्टर बैंक का प्रशासक होने के बावजूद निलंबित समिति प्रबंधक का चार्ज दूसरे को दिलाने में आ रहा दांतों पसीना आ रहा है। कलेक्टर के प्रशासक होने के बावजूद और सभी प्रकार की भ्रष्टाचार की जानकारी होने के बाद भी निलंबित समिति प्रबंधक का चार्ज दूसरे को नहीं दिलवा पा रहे हैं। हालांकि प्रशासक का भी दायित्व होता है कि समिति का चार्ज निलंबित से हटाकर जिसका आदेश हुआ है उसको दिलाया जाए। सूत्रों ने बताया कि गोपनीय तरीके से बीते रोज नमामि शंकर अग्रवाल प्रशासक बम्होरी सोसाइटी गए और औपचारिकता करके और अपना उल्लू सीधा करके वापस लौट आए। जिले के आला अधिकारियों को पसीना छूट रहा है निलंबित समिति प्रबंधक का चार्ज दूसरे समिति प्रबंधक को दिलाने में। निलंबित समिति प्रबंधक व्यास ने समिति में करोड़ के फर्जी लोन स्वीकृत किए, और आज के समय करोड़पति से भी ज्यादा संपत्ति है। वह हाई कोर्ट से स्टे की जुगाड़ में लगा हुआ है कि चाहे हाईकोर्ट में लाखों रुपए बर्बाद हो जाए, लेकिन जल्द से जल्द स्टे मिल जाए, नही तो और भी फर्जी घोटालों की फाइल खुलना शुरू हो जाएगी। जिसमे जिला सहकारी बैंक छतरपुर के अधिकारियों के नाम सामने आ सकते है। कलेक्टर ने बताया कि मेरे संज्ञान में निलंबित समिति प्रबंधक का मामला है, सोमवार को दूसरे को चार्ज करवाता हूं।

इनका कहना है –

शिकायतकर्ताओं के आवेदन पर जांच उपरांत चारों आरोपियों पर मामला दर्ज कराया गया है।
अजाक थाने में रविशंकर गोस्वामी, अरविंद व्यास के खिलाफ धोखाधड़ी का आदेवन वाला मामला संज्ञान में नहीं था, सोमवार को दिखवाता हूं। उसमे भी जल्द ही मामला पंजीबद्ध किया जाएगा।

अमित सांघी
पुलिस अधीक्षक, छतरपुर

इनका कहना है –

आपके द्वारा मुझे यह पता चला है कि करीब एक माह के बाद भी निलंबित समिति प्रबंधक ने इसका चार्ज दूसरे को नहीं दिया है। इसका जिम्मेदार प्रशासक होता है, कि समिति में क्या सही और क्या गलत है। अगर प्रशासक ने भी दूसरे को चार्ज दिलाने में अनियमितता की है,
तो मैं प्रशासक को अलग कर दूसरे प्रशासक को नियुक्त करूंगा और निलंबित समिति प्रबंधक के ऊपर कार्यवाही कर सोमवार को नई समिति प्रबंधक को चार्ज मिलेगा।

डॉक्टर अरुण शंकर मसराम
उपपंजीयक, सहकारी संस्थाएं छतरपुर

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